उत्तर प्रदेश राष्ट्रीय (दैनिक कर्मभूमि) लखनऊ,11 मार्च 2021 गरीबों और आम आदमी के घरोंदों को ढहा कर और विपक्ष की लोकतान्त्रिक गतिविधियों पर चाबुक चला कर फर्जी हनक साबित करने में जुटी उत्तर प्रदेश की सरकार बालिकाओं और महिलाओं के साथ दरिंदगी की वारदातों को रोकने में तो असमर्थ है ही, उसकी पुलिस बलात्कारी आतताइयों को संरक्षण प्रदान कर रही है। भाकपा ने उत्तर प्रदेश सरकार को नाकारा बताते हुये उसे जिम्मेदारी वहन करने की मांग की है। ताजा मामला कानपुर का है जहां एक दरोगापुत्र ने साथियों के साथ नाबालिग से रेप किया, रिपोर्ट करने पर दोबारा सबके सामने बलात्कार की धमकी दी और अब बालिका के पिता को ट्रक से कुचलवा कर हत्या करने के आरोपों से घिरा है दारोगापुत्र। पुलिस ने सारी मर्यादाएं ताक पर रख कर रिपोर्ट दर्ज होने के बाद पीड़िता को थाने बुला लिया, रात भर उसे थाने में रख अभिभावकों पर समझौता करने का दबाव बनाया। भाकपा तीनों क्रत्यों की तीव्र शब्दों में भर्त्सना करती है, सभी दोषियों को माकूल दफाओं में जेल भेजे जाने, समस्त पुलिस थाने को सस्पेंड कर उसकी जांच कराने और पीड़ित परिवार को समुचित मुआबजा दिलाने की मांग करती है। उन्नाव दर उन्नाव, हाथरस दर हाथरस, अलीगढ़, बलरामपुर की घटनाओं से राज्य सरकार ने कोई सबक नहीं लिया है और पिछले 48 घंटों में दरिंदगी की तमाम वारदातें हुयी हैं। सिध्दार्थ नगर में विकलांग बालिका के साथ बलात्कार हुआ, पीलीभीत में महिला के साथ सामूहिक बलात्कार हुआ, मुरादाबाद में भी अवयस्क बालिका से दुराचार हुआ, यह चंद घटनायें योगी सरकार की कार्यप्रणाली की परतें उघाड़ देती हैं। इतना ही नहीं बलात्कार के मामले का पुलिस फर्जी कहानी गढ कर पटाक्षेप कर देती है या फिर कोई कार्यवाही ही नहीं करती। बलात्कारियों पर कार्यवाही न होने से व्यथित सुल्तानपुर की एक महिला ने कल ही विधान सभा के समक्ष आत्मदाह का प्रयास किया। यूपी में इतना कुछ हो रहा है और यूपी सरकार और गोदी मीडिया रामराज्य के फर्जी किस्से गढ़ रहा है। यह बेहद चिंतनीय है। भाकपा राज्य सचिव मण्डल सरकार से नैतिक जिम्मेदारी लेने की मांग करता है। समस्त प्रबुध्द समाज से नारी सम्मान और उनके जीवन को बचाने को आगे आने की मांग करता है।
रिपोर्टर सिद्धार्थ त्रिवेदी रायबरेली
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