जन विरोधी हैं भाजपा सरकार की नीतियां – रूद्र

उत्तर प्रदेश राष्ट्रीय (दैनिक कर्मभूमि) चित्रकूट: अग्निपथ योजना राष्ट्रीय सुरक्षा, भारतीय सेना, बेरोजगार युवाओं और किसान परिवारों के लिए विनाशकारी है। योजना वापस लिए जाने तक अग्निपथ के खिलाफ संघर्ष जारी रहेगा। भारत सरकार द्वारा लाई गई विनाशकारी ‘अग्निपथ योजना’ के खिलाफ निरंतर अभियान शुरू करने के लिए देश के किसानों, पूर्व सैनिकों और युवाओं ने हाथ मिलाया है। शहीद किसानों को श्रृद्धांजलि तथा किसान सभा के ध्वज फहराने के बाद उत्तर प्रदेश किसान सभा के राज्य कार्यकारिणी सदस्य कामरेड रूद्र प्रसाद मिश्र एडवोकेट ने मऊ मंडल के किसान सभा सम्मेलन के अवसर में आये किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि केन्द्र सरकार अपनी नीतियों से जहां बेरोजगारी मंहगाई पैदा कर रही है वंही विनाशकारी अग्निपथ योजना से सशश्त्र बलों को कमजोर कर रही है। उन्होंने कहा कि अग्निपथ योजना वापस लिये जाने तक किसान सभा अपना विरोध इसलिए करती रहेगी कि इस योजना ने सशस्त्र बलों में नियमित, स्थायी भर्ती की आजमाई और परखी हुई पद्धति को समाप्त कर दिया है। इससे सशस्त्र बल के आकार में भारी कमी होगी, जो वर्तमान स्वीकृत संख्या 14 लाख से घटकर मात्र 7 लाख रह जाएगी।

ऐसे समय में जब राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए बाहरी खतरे बढ़ रहे हैं, विस्तृत नियमित भर्ती को अनुबंधित अग्निवीरों द्वारा बदलने से सशस्त्र बलों की परिचालन क्षमता और मनोबल पर गंभीर प्रभाव पड़ेगा। चल रही भर्ती प्रक्रिया की समाप्ति उन उम्मीदवारों के साथ विश्वासघात है। जिन्होंने वर्षों से इसके लिए मेहनत किया था और अपनी कड़ी मेहनत के अंतिम परिणाम की प्रतीक्षा कर रहे थे। यह पहले से ही सार्वजनिक क्षेत्र में रोजगार के अवसरों में कमी का सामना कर रहे बेरोजगार युवाओं को गहरा झटका है। यह उन किसान परिवारों के लिए भी एक गंभीर झटका है, जिन्होंने अपने युवाओं को सशस्त्र बलों में भेजकर राष्ट्र के लिए योगदान दिया है।. प्रस्तावित ‘ऑल इंडिया ऑल क्लास भर्ती’ पंजाब, हरियाणा, हिमाचल, उत्तराखंड, पश्चिमी यूपी और पूर्वी राजस्थान जैसे क्षेत्रों की हिस्सेदारी को गंभीर रूप से कम कर देगा, जिन्होंने पीढ़ियों से सशस्त्र बलों में योगदान दिया है, और रेजिमेंटों के मनोबल को प्रभावित करेगा। कामरेड मिश्र ने कहा कि इस अभियान का उद्देश्य जनता को विवादास्पद अग्निपथ योजना के विनाशकारी परिणामों के बारे में किसानों, नौजवानों और बेरोजगारों को जागरुक करना और लोकतांत्रिक, शांतिपूर्ण और संवैधानिक साधनों के जरिए केंद्र सरकार को योजना को वापस लेने के लिए मजबूर करना है। उन्होंने कहा कि यदि कृषि कानून सख्त थे, तो अग्निपथ योजना विनाशकारी है। हमारे किसान और जवान संकट में हैं, हमारे देश की रीढ़ की हड्डी टूटने का खतरा है। हमारी चुप्पी सरकार के लिए राष्ट्र के रक्षकों और अन्नदाताओं को ध्वस्त करने और नष्ट करने का बहाना नहीं हो सकती है। मंडल सम्मेलन में सर्व सम्मति से यह प्रस्ताव स्वीकार किया गया कि अग्निपथ योजना को तत्काल वापस लिया जाए और इसके तहत जारी सभी अधिसूचनाओं को वापस लिया जाए। नियमित, स्थायी भर्ती की समय-परीक्षित पद्धति जारी रहे।

लंबित रिक्तियों (लगभग 1.25 लाख) और इस वर्ष की रिक्तियों (लगभग 60,000) को नियमित और स्थायी भर्ती की पूर्व-मौजूदा पद्धति के तहत तुरंत बाद भरा जाए।पहले से शुरू की गई भर्ती प्रक्रिया को पिछले दो वर्षों के गैर-भर्ती के एवज में 2 वर्ष की आयु-छूट के साथ पूरा किया जाना चाहिए। अग्निपथ विरोधी प्रदर्शनकारियों के खिलाफ सभी मामले वापस लिए जाए और गिरफ्तार युवकों को तत्काल रिहा किया जाए। रक्षा क्षेत्र में कोई निजीकरण नहीं होय सरकार को राष्ट्रीय सुरक्षा और सशस्त्र बलों के सम्मान और मनोबल की रक्षा के लिए अपनी जिम्मेदारी स्वीकार करनी चाहिए।

उत्तर प्रदेश किसान सभा के मऊ मंडल के अध्यक्ष अनन्त राम गर्ग को तथा महिला किसान लक्ष्मी को जिला मंत्रीचुना गया। मऊमंडल किसान सम्मेलन की अध्यक्षता ग्राम पंचायत मोहनी मऊ के ग्राम प्रधान ने किया। आगामी दिनों में होने वाले जिला सम्मेलन के लिए प्रतिनिधियों का चयन किया गया। मंडल सम्मेलन में दद्दी,माया शिवकरण, शिवदयाल पप्पू छब्बूलाल चतुर्वेदी धीरज आदि उपस्थित रहे।

 

*ब्यूरो रिपोर्ट* अश्विनी कुमार श्रीवास्तव

*जनपद* चित्रकूट