अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने मुख्यमंत्री को लिखा पत्र

राजस्थान (दैनिक कर्मभूमि) बारां छीपाबड़ौद 15 अक्टूबर 2020 को नगर मंत्री हरिओम मालव ने बताया कि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् छीपाबड़ौद इकाई द्वारा मुख्यमंत्री महोदय को लिखा पत्र तहसीलदार को सौपा।।पत्र में बताया कि हमारे राजस्थान का इतिहास गौरवशाली इतिहास रहा है यह धरती वीर शिरोमणि, महाराणा प्रताप, पन्नाध्याय, पृथ्वीराज चौहान एवं सूरजमल की है परंतु वर्तमान में राजस्थान में आएं दिन की घटनाओं से लग रहा है कि कोई भी कानून व्यवस्था एवं शासन तंत्र नहीं है, जिससे यहा पर जंगलराज जैसा प्रतीत हो रहा है और आएं दिन महिलाये, बच्चियों के साथ बलात्कार की घटनाए बढ़ रही है जो कि निराशाजनक है! अभी कुछ समय पहले बारां में बलात्कार की घटना को भी आपने बहुत ही सरल लहजे मे हाथरस की घटना से तुलना करते हुए कह दिया कि बारां में बलात्कार की घटना हाथरस की घटना से बिल्कुल अलग है! घटना की तुलना करने के बजाए अपराध को अपराध की दृष्टि से ही देखा जाना चाहिए एवं कठोरता पूर्ण कार्यवाही करनी चाहिए | जिला समिति सदस्य सुरेश गुर्जर ने यह भी बताया कि अनेक घटनाएं राजस्थान में आप की सरकार बनने के बाद हुई है चाहे वह घटना अलवर के थानागाजी में एक शादीशुदा महिला के साथ हुई जिसमें पति के सामने दरिंदों ने बलात्कार किया और आपके प्रशासन के द्वारा उस घटना को बहुत दिनों तक छिपाया गया या फिर उदयपुर जिले की गोगुंदा तहसील में  20 जून 2019 को 5 साल की नाबालिग बच्ची से  उसके चचेरे दादा द्वारा दुष्कर्म का मामला हो  या फिर  उदयपुर के  हिरणमगरी क्षेत्र में  20 अप्रैल 2019 को  16 साल की किशोरी ने  अपने पिता पर दुष्कर्म का मामला दर्ज करवाया हो ,  इसी प्रकार  बाड़मेर के लोहावट में  दुष्कर्म कर बालिका का शव रेलवे ट्रैक पर फेंक दिया,  जालौर के पास पाथेड़ी गांव में  बालिका का गैंगरेप  करके  शव को पेड़ पर लटकाया गया , हनुमानगढ़ जिले के पीलीबंगा में  नाबालिग से गैंगरेप कर  उसका अश्लील वीडियो बनाया , सिरोही में रेप करके  बालिका की  हत्या कर दी गई  इसी प्रकार जयपुर में पिछले वर्ष  झोटवाड़ा क्षेत्र से  बालिका का अपहरण कर  उसके साथ बलात्कार किया गया। इन में से कई मामलों में  तो अभी तक  पुलिस ने बयान भी दर्ज करने शुरू नहीं किए, कहीं मामले  दबाने का प्रयास किया जा रहा है। आपको ज्ञात रहना चाहिए राजस्थान में पिछले 8 महीनों में 3500 के करीब मामले बलात्कार के दर्ज हुए हैं। अगर यह जान कर भी आपकी अंतरात्मा आपको सवाल नहीं पूछती तो ये दुखद है। लगातार समाचार पत्रों में लिखा जाता जा रहा है कि बलात्कार के मामले में राजस्थान अव्वल है, कितनी ही नाबालिग बच्चियों के साथ बलात्कार के मामले दर्ज हो रहे हैं और इतना ही नहीं इसके साथ-साथ अलग अलग तरीके से महिलाओं के साथ अपराध के 41550 मामले दर्ज हुए हैं और प्रशासन द्वारा लगातार मामलों में संवेदन हीनता बढ़ती ही जा रही है एवं सरकार और मंत्रियों का जो व्यवहार है वह बिल्कुल अनुचित एवं इस प्रकार के गंभीर अपराधों के प्रति उपेक्षा पूर्ण है। प्रशासन एवं सरकार घटनाओं की सच्चाई को छुपाने एवं तथ्यों के गलत प्रस्तुती करण में लगे हैं।

यह सर्वविधित है कि जयपुर में हर दिन बाल यौन शोषण के मामले दर्ज होते हैं और जिस जयपुर को गुलाबी नगर कहते हैं और बड़ी बड़ी उपलब्धि आप अपनी सरकार की गिनाते हैं, राजस्थान की राजधानी जयपुर में प्रतिदिन 1 बच्चि या बच्चे के बाल यौन शोषण का मामला दर्ज हो रहा है। इसके साथ-साथ जोधपुर अलवर में भी बाल योन शोषण के मामले बढ़ते जा रहे हैं जो सरकार की अक्षमता को दर्शाते हैं। वर्ष 2019 में 3159 मामले सिर्फ और सिर्फ़ बाल यौन शोषण के दर्ज है और तो और बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान के 53 करोड़ रुपए लापरवाही से अफसरों ने डूबा दिए हैं। राजस्थान की महिला विकास मंत्री के विधानसभा क्षेत्र में 5000000 में से ₹28000 खर्च किए गए जो कि बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान में सरकार की उपेक्षा दर्शाता हैं।अभी करौली में पुजारी को जिंदा जलाने की घटना ने भी सभी को झंकझोर के रख दिया हैं। राजस्थान में आए दिनों मर्डर और बलात्कार की घटनाओं को देखने से लगता है कि राजस्थान में प्रशासन कुछ भी नहीं कर रहा है केवल अपराध को बढ़ावा दे रहा है जिससे राजस्थान में क़ानून का अभाव महसूस होता है। प्रत्येक व्यक्ति राजस्थान में भय की स्थिति में है, आप से अपेक्षा हैं की आप अपने संविधानिक दायित्वों का निर्वहन करते हुवे सुशासन एवं आम व्यक्ति महिलाओं बच्चों के क़ानूनी अधिकारो को सुरक्षित करे अन्यथा आप इस्तीफ़ा दें। वर्तमान में कोविड कि परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए विद्यार्थी परिषद् ने चेतावनी दी है कि राजस्थान में अगर समय रहते हुए कार्यवाही या कानून व्यवस्था सुचारू रूप से लागू नहीं की गयी तो।समस्त विद्यार्थी वर्ग आंदोलन करने को मजबूर है।।
इस अवसर पर कॉलेज इकाई अध्यक्ष ओमेंद्र सिंह राजावत गिरजेश नागर आदर्श सोनी आनंद मीणा संदीप मीणा।

रिपोर्टर कुलदीप सिंह सिरोहीया बारां छीपाबड़ौद