उत्तर प्रदेश (दैनिक कर्मभूमि) चित्रकूट। सम्पूर्ण भारत वर्ष तीर्थ स्थान के समान है, किन्तु चित्रकूट के समान तीर्थ पूरे विश्व में नहीं है।
यह विचार जगद्गुरू स्वामी रामभद्राचार्य महाराज ने रविवार को श्रीमद भागवत कथा के पहले दिन व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि अन्य स्थानों पर कथा होने पर तमाम श्रोता सुनते हैं, किन्तु श्री तुलसी पीठ चित्रकूट में कथा होने पर देवी सीता और भगवान राघव यहां कथा सुनते हैं। उन्होंने बताया कि श्रीमद भागवत कथा को सात दिन चलाना होता है। उन्होंने बताया कि नई पीढी के लोग सब कुछ कर रहे हैं, किन्तु पढना लिखना छोड रहे हैं। शास्त्रों का पढना कम होता जा रहा है। यह अच्छा नहीं है। हमें पढते रहना चाहिए। उन्होंने बताया कि भक्त और भगवान के संस्मरणों की गाथा ही श्रीमद भागवत है।
इस मौके पर यजमान नन्द किशोर खेतान, घनश्याम दास माहेश्वरी, उषा माहेश्वरी, वीरन्द्र गोविल, बुलंद शहर से अशोक मित्तल, सरला मित्तल, अनिल गर्ग, कमला गर्ग, टीसी गुप्ता, शोभा गुप्ता, राहुल खेतान, राखी खेतान, व्यवस्थापक हिमांशू त्रिपाठी आदि मौजूद रहे।
रिपोर्ट अश्वनी कुमार श्रीवास्तव चित्रकूट
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